अरपा कोलवासरी को आबंटित जमीन का ग्रामीणों ने किया पुरजोर विरोध, प्रशासन से शिकायत कर करेंगे दावा-आपत्ति



• अरपा कोल बैनिफिकेशन एंड एनर्जी एल.एल.पी. के रास्ते के लिए शासकीय जमीन का आबंटन, ग्रामीणों ने कि आपत्ति
रिपोर्टर ✒️ रूपचंद रॉय बिलासपुर
बिलासपुर । अरपा कोल बैनिफिकेशन एंड एनर्जी एल.एल.पी. मेंआने – जाने हेतू लगभग 28 डिसमिल भूमि आबंटित करने की मांग की गई जिसको लेकर अति. तहसीलदार ने आपत्ति दावा के लिए इश्तहार जारी किया था जिसमे ग्रामीणों ने आपत्ति दर्ज करते हुए प्रशासन के समक्ष शिकायत करने की तेयारी में है| दावा आपत्ति कि अंतिम तिथि 15 अक्टूबर तक नियत है जिसके पूर्व ग्रामीण अपनी दावा आपत्ति प्रशासन के समक्ष प्रस्तुत करेंगे|
ग्रामीणों ने शिकायत में बताया कि बिनोद मित्तल के द्वारा ग्राम रलिया, भिलाई एवं बेलटुकरी में खोला जाने वाला वैनिफिकेशन एंड एनर्जी शासकीय भूमि ख. न. 206, 28 डिसमिल को अपने निजी लाभ हेतु रास्ता बनाना एवं कब्ज़ा करना चाह रहा है जो कि शासकीय भूमि है यह कोई आम रास्ता नहीं है एवं सरकारी भूमि पर कब्ज़ा करना राजस्व सहिंता 1959 कि धारा 248 के तहत अपराध है भ्रष्टाचार है| अरपाकोल बैनिफिकेशन खोलने के सम्बन्ध में जनसुनवाई हुई ‘ जिसमें 95% लोगों के द्वारा कोलवासरी का विरोध किया गया। जिसका सम्पूर्ण कॉपी संलग्न है आपको अवगत करते है कि राशि स्टील प्लांट, था एनटीपीसी एवं अन्य संचालित कोल वासरी यहां आस पास संचालित है जिससे राखड, जहरीली विषैले पानी से प्रदुषण बांध के रिसाव एवं अन्य अपशिष्ट पदार्थ से क्षेत्र कि जनता का स्वास्थ पर बुरा प्रभाव पड़ा है और खेत व फसल तबाह हो रहे है अब ऐसे स्थिति में एक नया अरपाकोल वासरी खुल जाने से क्षेत्र में प्रदुषण कि दोहरी मार झेलनी पड़ेगी। और जन हानि होगी कोयला एक ज्वलनशील पदार्थ है कोलवासरी में बहुतायत मात्रा मैं कोयला संग्रह किया जाएगा कभी भी गर्मी के मौसम में आगजनी होगी ग्राम से लगा वाशरी होगा और आग से गांव को काफी नुकसान होगा जान मॉल की हानि होगी|
इसके अतिरिक्त भिलाई, रलिया, बेलट्रकारी, गतौरा, जयराम नगर एवं अन्य गाँव को जोड़ने वाला एक मात्र रास्ता है। जो पूरी तरह जर्जर एवं बड़े बड़े गड्ढे हो चुके है, यह रास्ता गाँबो को जोड़ने के लिए प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना से बनी है, जिसकी भार क्षमता 10-12 टन कि है किन्तु राशि प्लांट एनटीपीसी एवं संचालित कोलवासरी के द्वारा बड़े ट्रेलर एवं ट्रको कि भार क्षमता 80-90 टन का उपयोग किया जाता है जिससे यहाँ के लोगो का चलना दूभर हो चूका है, ।अब नया कोल वासरि खुलेगा तो और बर्बाद हो जाएंगे यहां आम जन जीवन अस्त व्यस्त होगा|
खारंग जलाशय जो कि सूटाघाट से जॉधरा किसानो के लिए कृषि सिंचाई के लिए पानी आता है इस बड़े नहर से केनाल के मध्यम से भिलाई, रलिया, बेलटूकारी, गतौरा अन्य गाँवों में सिंचाई के लिए पानी आता है जो नहर एवं नालो के माध्यम से खेतो तक पहुँचता है। यहाँ खुलने वाला (अरपा कोलवासरी) के द्वारा अपशिष्ट पदार्थों को नहर एवं नालो में छोड़ा जाएगा जिससे जल प्रदूषित होगा अरपा कोलबासरी के खुलने से किसान इस सिंचाई साधान से भी वंचित हो जायेंगे। ग्रामीणों ने प्रशासन से अरपा कोलबासरी को खोलने से रोके जाने कि मांग किया है साथ ही कहा कि यहाँ के क्षेत्र वासी स्वास्थ वातावरण में एक स्वस्थ जीवन जी सके, हम इस अरपा कोलवासरी का पुरजोर विरोध करते हुएदावा आपत्ति करते है।

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