मुख्यधारा में लौटे 21 माओवादी, ‘पूना मार्गम’ पहल से मिली नई दिशा।

0
IMG-20251026-WA0820.jpg

कांकेर । बस्तर रेंज के कांकेर जिले में रविवार को नक्सल उन्मूलन की दिशा में एक और बड़ी सफलता मिली है। ‘पूना मार्गम : पुनर्वास के माध्यम से पुनर्जीवन’ पहल के तहत कुल 21 माओवादी कैडरों ने मुख्यधारा में लौटने का निर्णय लिया है। इन सभी ने अपने पास रखे 18 हथियारों के साथ आत्मसमर्पण किया।

आत्मसमर्पण करने वाले सभी कैडर केशकल डिवीजन (नॉर्थ सब जोनल ब्यूरो) के कुएमारी / किसकोडो एरिया कमेटी से जुड़े हुए हैं। इनमें डिवीजन कमेटी सचिव मुकेश भी शामिल हैं।

इन माओवादियों में चार डिवीजन वाइस कमेटी मेंबर (DVCM), नौ एरिया कमेटी मेंबर (ACM) और आठ पार्टी सदस्य शामिल हैं। सभी ने हिंसा का रास्ता छोड़कर शांति और विकास की राह पर चलने का संकल्प लिया है।

इनमें 13 महिला कैडर और 8 पुरुष कैडर शामिल हैं, जिन्होंने सालों तक जंगलों में रहते हुए माओवादी संगठन के लिए काम किया। अब सभी ने समाज में लौटकर नई शुरुआत करने की इच्छा जताई है।

आत्मसमर्पण करने वालों ने जो हथियार पुलिस को सौंपे हैं, उनमें —
03 एके-47 रायफलें, 04 एसएलआर रायफलें, 02 इंसास रायफलें, 06 .303 रायफलें, 02 सिंगल शॉट रायफलें और 01 बीजीएल हथियार शामिल हैं।

पुलिस के अनुसार, आत्मसमर्पण करने वाले सभी कैडरों को ‘पूना मार्गम’ योजना के तहत पुनर्वास और पुनर्समावेशन की प्रक्रिया में शामिल किया जाएगा।

अधिकारियों का कहना है कि इस अभियान का उद्देश्य बस्तर में क्रूर और जनविरोधी माओवादी विचारधारा का अंत कर स्थायी शांति की स्थापना करना है।

“पूना मार्गम” कार्यक्रम बस्तर में अब तक कई युवाओं को मुख्यधारा से जोड़ चुका है और यह अभियान लगातार सकारात्मक परिणाम दे रहा है।

आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि आत्मसमर्पण करने वाले कैडरों से पूछताछ और आवश्यक औपचारिकताएं पूरी की जा रही हैं, ताकि उन्हें शीघ्र ही समाज में पुनर्वासित किया जा सके।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Latest News

error: Content is protected !!